Monday, February 10, 2020

क्या है? ऑपरेटिंग सिस्टम

क्या है? ऑपरेटिंग सिस्टम

Operating System क्या होता है?

Operating System छोटे रूप मे इसे OS कहते है, एक ऐसा कम्प्युटर प्रोग्राम होता है, जो अन्य कम्प्युटर प्रोग्रामों का संचालन करता है. ऑपरेटिंग सिस्टम उपयोक्ता (Users) तथा कम्प्युटर के बीच मध्यस्थ का कार्य करता है. यह हमारे निर्देशो को कम्प्युटर को समझाता है. Operating System के द्वारा अन्य Software प्रोग्राम तथा Hardware का संचालन किया जाता है.


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Operating System के कुछ प्रमुख कार्य नीचे है.

  1. Operating System कम्प्युटर को ठीक प्रकार से उपयोग करने लायक सरल बनाता है.
  2. Operating System उपयोगकर्ता से Hardware की भारी भरकम सूचनाओं को उपयोगकर्ता से छिपा लेता है, इसलिए उपयोगकर्ता का ढेर सारी सूचनाओं से सामना नही होता है.
  3. Operating System उपयोगकर्ता को एक सरल माध्यम उपलब्ध कराता है इसलिए वह कम्प्युटर पर आसानी से कार्य कर पाता है.
  4. Operating System उपयोगकर्ता एवं Hardware के बीच मध्यस्थ का कार्य करता है, ताकि उपयोगकर्ता कम्प्युटर और उसके संसाधनों का उपयोग सरलता से कर सके.
  5. कम्प्युटर और इसके संसाधनों का प्रबंधन करना Operating System का एक जरूरी कार्य है. 
  6.  

Functions of Operating System 

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  • प्रोसेसे मैनेजमेंट (Process Management)
  • मेन मैमोरी प्रबंधन (Main Memory Management)
  • फाइल प्रबंधन (File Management)
  • सेकंडरी संग्रह प्रबंधन (Secondary Storage Management)
  • I/O सिस्‍टम मैनेजमेंन्‍ट (I/O System Management) 
 Process Management
                                   CPU एक समय मे एक ही process को execute कर सकता है. परन्तु हम अपने computer या mobile में multiple program को एक साथ run कर पाते है. ऐसा इसलिए होता है, क्योंकि OS उन प्रॉसेस को Multi-programming environment की सुविधा देता है. अर्थात सभी निष्पादन के लिए तैयार प्रोसेस CPU को कब और कितने समय के लिए access करेंगी यह सब ऑपरेटिंग सिस्टम तय करता है.
OS के इस function को process scheduling कहा जाता है. इसके अलावा ओएस, process और processor की status पर नजर रखता है और जब प्रक्रिया पूर्ण हो जाती है, तो प्रोसेसर अर्थात CPU को De-allocate कर देता है. प्रोसेस और प्रोसेसर की स्थिति पर नजर रखने वाले प्रोग्राम को traffic controller के रूप में जाना जाता है.

Memory Management

मेमोरी प्रबंधन एक प्रमुख कार्य है, जो ऑपरेटिंग सिस्टम द्वारा किया जाता है. जब भी हम किसी application या program को execute करते है, तो वह सबसे पहले main memory में load होता है. अब यदि हम कई प्रोग्राम को एक समय में निष्पादित करते है, तो उन सभी को मेमोरी की आवश्यकता होगी. यहां पर operating system द्वारा main memory (प्राइमरी मेमोरी भी कहते है) को manage किया जाता है.
मुख्य मेमोरी CPU से intimately connect होती है, इसीलिये instructions और data को processor के अंदर और बाहर ले जाना बहुत fast होता है. Multi programming में OS यह सुनिश्चित करता है, कि सभी process द्वारा memory का इस्तेमाल किया जा सके ताकि सिस्टम अच्छी तरह से कार्य कर पाए.
एक ऑपरेटिंग सिस्टम memory management के लिए विभिन्न कार्य करता है. उदाहरण के लिए मेमोरी का track रखता है, यानी कोनसा भाग किस प्रोसेस के उपयोग में है और कोनसा नही. जब कोई process मेमोरी की मांग करती है, तो उसे memory allocate करता है. जब प्रोसेस को इसकी आवश्यकता नही होती या प्रोसेस समाप्त हो जाती है, तो मैमोरी को De-allocate करता है.

Hardware Management

प्रत्येक hardware device एक अलग कार्य करता है, परन्तु ओएस respective drivers (एक प्रकार का सॉफ्टवेयर) की मदद से device communication को manage करता है. प्रत्येक हार्डवेयर डिवाइस के लिए एक अलग device driver होता है. ये ड्राइवर अन्य software और hardware के बीच संचार को सफल बनाते है.
सिस्टम से जुड़े सभी हार्डवेयर डिवाइस का OS द्वारा ट्रैक रखा जाता है. इसके लिए I/O controller नामक प्रोग्राम का उपयोग किया जाता है. ओएस तय करता है, कि कोन सी प्रोसेस एक certain device को access करेगी और कितने समय के लिए. इसके अलावा ऑपरेटिंग सिस्टम प्रभावी और कुशल तरीके से hardware device को allocate करता है. जब वे आवश्यक नही होते, तो डिवाइस को De-allocate करता है.

File Managment

कंप्यूटर में मौजूद files को easy navigation के साथ और efficient तरीके से उपयोग किया जा सके इसके लिए हम उन्हें directories में व्यवस्थित करते है. जिसके अंतर्गत एक operating system अहम भूमिका निभाता है. उदाहरण के लिए ओएस देखता है, कि data कहा store है साथ ही resources को खोजने में मदद करता है. इन सामुहिक सुविधाओं को अक्सर file system के रूप में जाना जाता है.

Security

OS यह सुनिश्चित करता है, कि केवल एक authorized user ही computer और इसके data तक पहुँच प्राप्त करे. ऐसा करने के लिए ऑपरेटिंग सिस्टम द्वारा password protection और अन्य तकनीकों का उपयोग किया जाता है. Data किसी भी computer system का एक महत्वपूर्ण भाग है. अगर यह किसी दूसरे व्यक्ति की पहुँच में आ जाये तो, वह डेटा का अवैध उपयोग और उसमें हेरफेर कर सकते है.

User को Interface Provide करना

यूजर computer resources का इस्तेमाल कर पाए उसके लिए operating system एक interface के रूप में कार्य करता है. यह एक Graphical user interface (GUI) हो सकता है, जिसमे यूजर OS के साथ संवाद करने के लिए on-screen elements पर क्लिक करता है. इसके अलावा यह Command-line interface (CLI) हो सकता है, जिसमे यूजर कार्य को करने के लिए ओएस को commands देते है.

Error बताना

सिस्टम की खराबी से बचने के लिए OS उसमे आ रहे errors को लगातार detect करता है. त्रुटि का पता लगाने के लिये ऑपरेटिंग सिस्टम विभिन्न तरीकों का उपयोग करता है.

System Performance देखना

Operating system हमारे कंप्यूटर की overall performance पर नजर रखता है साथ ही हमें CPU की status भी बताता रहता है. इसकी मदद से हम देख सकते है, कि हमारा सीपीयू कितना व्यस्त है, या हमारी हार्ड ड्राइव डेटा को कितनी जल्दी पुनर्प्राप्त करती है इत्यादि. सिस्टम में हो रही सभी activities की रिकॉर्डिंग करने का काम एक ऑपरेटिंग सिस्टम का है.
    By Ajay Kumar Mishra